
शहर से अनाधिकृत विज्ञापनों को हटाने एवं विज्ञापन नीति के क्रियान्वयन का निर्देश
लाइव खगड़िया : समाहरणालय के सभा कक्ष में मंगलवार को जिलाधिकारी अमित कुमार पांडेय की अध्यक्षता में भूमि विवादों के निराकरण एवं आंतरिक संसाधन को लेकर समीक्षात्मक बैठक का आयोजन किया गया. मौके पर जिलाधिकारी ने अंचल अधिकारियों को भूमि विवाद के निस्तारण के संबंध में महत्वपूर्ण दिशा-निर्देश देते हुए भूमि विवाद के मामलों के तीव्र निष्पादन का निर्देश दिया.
बैठक में भूमि विवाद से संबंधित मामलों में नियमानुसार आवश्यक कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया. अनुमंडल पदाधिकारी एवं अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी के साथ सभी अंचलाधिकारियों को भूमि विवाद के सभी मामलों पर निगरानी रखने एवं नियमानुकूल कार्रवाई करते हुए निष्पादन करने का निर्देश जिलाधिकारी ने दिया. वहीं जिलाधिकारी ने कहा कि हिंसा एवं हत्या संबंधी अधिकांश मामलों की जड़ में भूमि विवाद ही होता है, अतः भूमि विवाद के मामलों में दोनों पक्षों के बातों को गौर से सुनकर नियमानुसार कार्रवाई करने का निर्देश दिया.
जिलाधिकारी ने पोर्टल पर सभी थानों का नाम जुड़े रहने के संबंध में जानकारी लेते हुए निर्देश दिया कि सभी अंचलाधिकारी एवं थाना प्रभारी साथ बैठकर प्रतिवेदन को अद्यतन करने के लिए 3 दिनों का समय दिया. साथ ही उन्होंने कहा कि 1 सप्ताह बाद भूमि विवाद से संबंधित मामलों के लिए वे केवल ऑनलाइन रिपोर्ट देखेंगे और इसी की समीक्षा करेंगे. जिलाधिकारी ने अंचल अधिकारियों को भूमि विवाद से संबंधित मामलों का वर्गीकरण करने का निर्देश दिया. साथ ही उन्होंने कहा कि 60 प्रतिशत से अधिक लड़ाई-झगड़े भूमि विवाद के चलते ही होते हैं. ऐसे में अंचल अधिकारियों एवं थाना प्रभारियों को भूमि विवाद के मामले पंजी में दरज कर कर इनका दस्तावेजीकरण कर लेना चाहिए.
जिलाधिकारी ने अंचल अधिकारियों को निर्देश दिया कि भूमि विवाद से संबंधित जो मामले भूमि सुधार उप समाहर्ता को अग्रेषित करने योग्य हो उन्हें अवश्य करना चाहिए, ताकि वे
बिहार भूमि विवाद निराकरण अधिनियम 2009 के तहत इन मामलों की सुनवाई कर इनका निस्तारण कर सकें. सीधा सिविल कोर्ट में पक्षकारों को नहीं भेजना चाहिए.
जिलाधिकारी ने थानावार भूमि विवाद संबंधी बैठकों में अंचल अधिकारियों की उपस्थिति का रोस्टर बनाने का निर्देश दिया. उन्होंने विवादों को हल करने के लिए आवश्यकतानुसार जमीन की मापी कराने का भी निर्देश दिया और मापी से संबंधित लंबित मामलों की जानकारी ली. डीएम ने दखल कब्जा अतिक्रमण आदि से संबंधित मामलों के बारे में भी जानकारी ली और आवश्यक निर्देश दिया.
जिलाधिकारी ने बिहार भूमि विवाद निराकरण अधिनियम 2009 के सफलतापूर्वक क्रियान्वयन के संबंध में अंचल अधिकारियों का उन्मुखीकरण करने का निर्देश भूमि सुधार उप समाहर्ताओं को दिया. इस अधिनियम के तहत भूमि विवादों की सुनवाई के लिए भूमि सुधार उप समाहर्ता सक्षम प्राधिकार घोषित किए गए हैं. इस अधिनियम के अन्तर्गत रैयती भूमि के मामलों (जैसे अतिक्रमण, अनाधिकृत संरचना निर्माण, सीमा विवाद, बेदखली का मामला, भू-खण्ड का विभाजन, सर्वे मानचित्र सहित स्वत्वाधिकार अभिलेख) में की गई प्रविष्टि में संशोधन से संबंधित मामलों का निराकरण के लिए क्षेत्राधिकार सुनिश्चित किया गया है.
जिलाधिकारी ने बिहार भूमि विवाद निराकरण अधिनियम 2009 के मुख्य बिंदुओं की एक छोटी पुस्तिका बनाकर जनता दरबार में आए हुए लोगों को देने का निर्देश देते हुए कहा कि इससे लोगों को काफी मदद मिलेगी और वे भूमि सुधार उप समाहर्ता के यहां विवाद से संबंधित मामलों की सुनवाई करा पाएंगे.
जिलाधिकारी ने स्पष्ट निर्देश दिया कि गैरमजरूआ आम और खास सैनी के जिस जमीन की बिक्री नहीं होनी है, उन्हें जिला अवर निबंधक के कार्यालय की रोक सूची में डलवा दें. जिलाधिकारी ने अंचल अधिकारियों को सभी राजस्व कर्मचारियों से रजिस्टर 2 एवं राजस्व अभिलेखों को अंचल के अभिलेखागार में प्रमाण पत्र प्राप्त करते हुए जमा करवाने का निर्देश दिया. साथ ही उन्होंने अगले 4 दिनों में अभिलेखागार में सभी दस्तावेजों को जमा कराने का निर्देश देते हुए कहा कि इसका निरीक्षण वरीय पदाधिकारियों के द्वारा किया जाएगा. उन्होंने संबंधित भूमि सुधार उप समाहर्ताओं को इसे सुनिश्चित कराने का निर्देश दिया.
इस अवसर पर डीएम ने राष्ट्रीय बचत, वाणिज्यकर, निबंधन, नीलाम पत्र, परिवहन, भूमि विकास के संबंध में मासिक एवं वार्षिक लक्ष्यों की समीक्षा करते हुए संसाधनों की वसूली शत प्रतिशत करने का निर्देश दिया. साथ ही उन्होंने कार्यपालक पदाधिकारी (नगर परिषद) को निर्देश दिया कि शहरी क्षेत्र में कोई भी निजी व्यक्ति के द्वारा मुफ्त में प्रचार प्रसार नहीं होना चाहिए और इसके लिए सरकार द्वारा निर्धारित राशि की वसूली होनी चाहिए. अनाधिकृत विज्ञापनों को हटाया जाए एवं विज्ञापनकर्ता से राजस्व की वसूली की जाए. मौके पर उन्होंने विज्ञापन नीति को क्रियान्वित करने का निर्देश कार्यपालक पदाधिकारी को दिया.
साथ ही डीएम ने माप-तौल इंस्पेक्टर को जन वितरण प्रणाली, धर्म कांटा इत्यादि के बाटों को जांचने का निर्देश दिया. वहीं नवमी मीटर की भी जांच करने का निर्देश भी दिया गया. मौके जिला परिषद द्वारा जलकर, किराया से प्राप्त राजस्व, खनन से प्राप्त रॉयल्टी के संबंध में भी समीक्षा की गई एवं लक्ष्य की प्राप्ति हेतु निर्देश दिया गया.
बैठक में गोगरी अनुमंडल पदाधिकारी गोगरी अमन कुमार सुमन, सदर अनुमंडल पदाधिकारी अमित अनुराग, भूमि सुधार उप समाहर्ता (खगड़िया) जनक कुमार, भूमि सुधार उप समाहर्ता (गोगरी) निधि कुमारी, पुलिस उपाधीक्षक (खगड़िया) सुमित कुमार, पुलिस उपाधीक्षक (गोगरी) मनोज कुमार सहित सभी अंचलाधिकारी एवं अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे.