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नवरात्र : विभिन्न जिलों के चार दर्जन श्रद्धालु निर्जला उपवास पर, कर रहे मां की आराधना

लाइव खगड़िया (मुकेश कुमार मिश्र) : जिले में शारदीय नवरात्र को लेकर माहौल पूरी तरह भक्तिमय है और देवी की आराधना में श्रद्धालु लगे हुए हैं. परबत्ता प्रखंड के नयागांव स्थित स्वर्ण देवी दुर्गा मंदिर एवं सार्वजनिक दुर्गा मंदिर नयागांव शिरोमणी टोला में चार दर्जन से अधिक श्रद्धालु निर्जला उपवास पर हैं. बताते चलें कि उक्त दोनों मंदिरों की क्षेत्र में एक अलग पहचान है. बताया जाता है कि मां के दरबार में सबकी मुरादें पूरी होती है और मुरादें पूर्ण होने के पश्चात प्रत्येक वर्ष नवरात्र के मौके पर निर्जला उपवास करने वाले श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ती ही जा रही है. निर्जला उपवास में बैठे महिला व पुरुष श्रद्धालु कई जिलों के बताये जाते है. निर्जला उपवास के दौरान श्रद्धालु  शारदीय नवरात्र के प्रथम पूजन के दिन से दस दिनों तक मंदिर प्रांगण स्थित भवन में रहते हैं और मां की प्रतिमा विसर्जन उपरांत ही वे जल और अन्न ग्रहण करते हैं.

सार्वजनिक दुर्गा मंदिर नयागांव शिरोमणी टोला में सुनीता देवी (लखीसराय), निशा देवी (बेगूसराय), बिभा देवी (बाढ़, पटना) ,अनामिका कुमारी (कटिहार), चंचला देवी (चकप्रयाग), इंदु देवी (खजरैठा), सुकमारी देवी (कन्हैयाचक), रीता देवी व सुनीता देवी (बेगूसराय), पार्वती देवी (धनबाद झारखंड), इंदुला देवी (जमशेदपुर), सुनैना देवी (मंझौल बेगूसराय), नयागांव शिरोमणी टोला निवासी रामाश्रय सिंह, कात्यायनी देवी, बबिता देवी, दीवानी देवी, अनिता देवी, शांति देवी, सुलोचना देवी, कुमकुम देवी, नुनु देवी, लक्ष्मी देवी, लालदाय देवी, रमिता देवी, चंदा देवी, ज्ञान देवी, पूनम देवी, सोनी देवी आदि निर्जला उपवास पर हैं. इन श्रद्धालुओं को प्रत्येक दिन मंदिर के मुख्य पंडित बेदानंद मिश्र उर्फ भूसी के द्वारा श्री दुर्गा सप्तशती कथा का श्रवण करवाया जा रहा है और पंडित के द्वारा उपवास कर रहे श्रद्धालुओं के हाथों में रक्षा सूत्र बांधा गया है.

स्वर्ण दुर्गा मंदिर नयागांव सतखुट्टी में रूबी देवी (मकनपुर,भागलपुर), अस्मिता देवी (मसुदनपुर बेगूसराय), सुनैना देवी (हसनपुर रामपुर), निर्मला देवी नयागांव (सतखुट्टी), अनीता देवी (सतखुट्टी), प्रमिला देवी (सतखुट्टी), सीता देवी (लखीसराय), कामनी देवी (नयागांव सतखुट्टी), रीता देवी (नयागांव पंचखुट्टी), अलका देवी (रतौली, बेगूसराय), अन्नपूर्णा देवी (रामचंद्रपुर लखीसराय), मोनी देवी (मटिहानी बेगूसराय), आशा देवी (नयागांव), सीमा देवी (मोकामा), शांति देवी (नयागांव सतखुट्टी), चमचम देवी (बेगूसराय), नीलम देवी (सिराजपुर), महेश्वर सिंह (सतखुट्टी) आदि निर्जला उपवास पर हैं. जिन्हें मंदिर में मुख्य पंडित अमित कुमार मिश्र के द्वारा पूजा-अर्चना कराई जा रही है. वहीं मूर्तिकार धनश्याम पोद्दार प्रतिमा को अंतिम रूप देने में लगे हुए हैं.

बताते चलें कि इन व्रतियों के द्वारा पूरे 10 दिनों के दौरान अन्न जल ग्रहण नहीं किया जाता है. इन दोनों मंदिरों में श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए मंदिर समिति के द्वारा विशेष व्यवस्था किया जाता है. यहां श्रद्धालुओं को मौसम के कुप्रभावों से बचाने के लिए वातानुकूल व्यवस्था रहती है और मां की अराधना में लगे श्रद्धालुओं को विशेष श्रद्धा की नजर से देखा जाता है. ऐसी मान्यता है कि निर्जला वर्ती की मनोकामना माता पूर्ण करती रहीं हैं.

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