खगड़िया सदर अस्पताल : लक्ष्य सर्टिफिकेशन हासिल करने को लेकर शुरू हुई कवायद
लाइव खगड़िया (मनीष कुमार) : सदर अस्पताल मातृत्व ओटी के प्रमाणीकरण की कवायद शुरू की गई है. लक्ष्य सर्टिफिकेशन के मद्देनजर शनिवार को जिलाधिकारी आलोक रंजन घोष की अध्यक्षता में सदर अस्पताल के ऑपरेशन थिएटर एवं प्रसव कक्ष में उपलब्ध कराए जाने वाले आवश्यक सेवाओं के संबंध में प्रशिक्षण सह समीक्षात्मक बैठक का आयोजन समाहरणालय सभाकक्ष में किया गया. गौरतलब है कि लक्ष्य सर्टिफिकेशन का कार्य भारत सरकार की टीम के द्वारा सदर अस्पताल का निरीक्षण कर वहां उपलब्ध आवश्यक सेवाओं के आधार पर किया जाता है और बिहार के सभी सदर अस्पतालों को यह सर्टिफिकेशन कराया जाना अनिवार्य है.
लक्ष्य सर्टिफिकेशन की तैयारी को लेकर आयोजित बैठक में ऑपरेशन थिएटर एवं प्रसव कक्ष के सभी डॉक्टरों एवं कर्मियों ने भाग लिया. वहीं बताया गया कि अस्पताल में रोगियों एवं भर्ती मरीजों को उपलब्ध कराए जाने वाले सेवाओं में 24 घंटे प्रसव एवं ऑपरेशन की सुविधा, एंबुलेंस की सुविधा, एक्सरे व अल्ट्रासाउंड की सुविधा, रोगियों की जांच की सुविधा सहित 24 घंटे स्टाफ आदि जरूरी है. साथ ही जानकारी दी गई कि बिहार में 20 जिलों के सदर अस्पतालों ने लक्ष्य सर्टिफिकेशन को प्राप्त कर लिया है और खगड़िया सदर अस्पताल सहित 18 अस्पतालों को अगले 1 साल में इसे प्राप्त करना है. तत्पश्चात सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को भी लक्ष्य सर्टिफिकेशन प्राप्त करना है.
मौके पर जिलाधिकारी ने सदर अस्पताल में गैप विश्लेषण कर लक्ष्य प्राप्त करने के प्रयास का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि अस्पताल में सभी वांछित सुविधाओं की उपलब्धता सुनिश्चित कराने के लिए एक निश्चित टाइम लाइन के अनुसार कार्य करना होगा. प्रत्येक सप्ताह इसकी समीक्षा की जाएगी और 3 महीने के उपरांत आंतरिक मूल्यांकन किया जाएगा कि कितना सुधार हुआ है और कितना सुधार और करने की आवश्यकता है.
वहीं उप विकास आयुक्त अभिलाषा शर्मा ने प्रत्येक सप्ताह प्रतिवेदन प्रस्तुत करने का निर्देश देते हुए कहा कि ताकि सर्टिफिकेशन हेतु आवश्यक सुविधाओं और सेवाओं की उपलब्धता की सतत मॉनिटरिंग की जा सके.
बैठक में सिविल सर्जन डॉ अमरनाथ झा, सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉक्टर योगेंद्र प्रयासी, अस्पताल प्रबंधक शशिकांत, डीपीएम हेल्थ पवन कुमार, अभिनंदन आनंद, प्रसव कक्ष एवं ऑपरेशन थिएटर के डॉक्टर, नर्स व अन्य कर्मी उपस्थित थे.