Breaking News

जदयू के पूर्व नेताओं की खुली चुनौती,आयें मैदान में व दिखायें जनसमर्थन

लाइव खगड़िया : हाल ही के दिनों में जदयू से इस्तीफा देने वाले स्थानीय नेताओं और पार्टी के वर्तमान पदाधिकारियों के बीच तीखी तकरार का दौर शुरू हो चुका है. जिससे सर्द भरी मौसम में जिले की राजनीति गरमा गई है और आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला जारी है.

दरअसल मामला जिले में जदयू के सांगठनिक चुनाव के बाद उस वक्त बिगड़ गया था, जब जिलाध्यक्ष के पद पर निर्वाचित घोषित किये गये बबलू मंडल को दरकिनार कर पार्टी के शीर्ष नेतृत्व ने चुनाव को रद्द करते हुए विधान पार्षद सोनेलाल मेहता को जिलाध्यक्ष मनोनीत कर दिया. मामला दिलचस्प है कि पार्टी द्वारा असंवैधानिक घोषित किये उस चुनाव में नवमनोनीत जिलाध्यक्ष सोनेलाल मेहता भी एक उम्मीदवार के रूप में मैदान में थे और वो मात्र एक मत हासिल सके थे. जबकि उस चुनाव में गिरे कुल 74 मतों में से 69 मत प्राप्त कर एक बड़ी जीत की इबादत लिखते हुए बबलू मंडल जिले की राजनीति में सनसनी फैला दी थी. हलांकि बाद के दिनों में चुनाव स्थगित किये जाने के बावजूद निर्वाचन की प्रक्रिया संपन्न करा जाने वाले जिला निर्वाचन पदाधिकारी को पार्टी नेतृत्व के निर्देशों की अवहेलना का आरोप में जदयू से निष्कासित कर दिया गया और साथ ही चुनाव प्रक्रिया को भी दरकिनार करते हुए पार्टी ने सोनेलाल मेहता को जदयू जिलाध्यक्ष के पद पर मनोनीत कर दिया.

बाद के दिनों में जदयू के शीर्ष नेतृत्व के फैसले से आहत नवनिर्वाचित जिलाध्यक्ष बबलू मंडल सहित पार्टी के 337 सक्रिय कार्यकर्ताओं ने जदयू को सामूहिक रूप से अलविदा कह दिया. साथ ही जदयू कार्यकर्ताओं का पार्टी को छोड़ने का सिलसिला आगे भी जारी रहा और इस क्रम में जिला महासचिव नवीन गोयनका के नेतृत्व में दो दर्जन से अधिक कार्यकर्ता जदयू से अपनी राहें अलग कर ली.




जिसके बाद जदयू के वर्तमान और पूर्व नेताओं के बीच वाकयुद्ध का दौर शुरू हो गया. इस क्रम में विधान पार्षद सह जदयू के नवमनोनीत जिलाध्यक्ष सोनेलाल मेहता का बयान आया कि नगर व पंचायत स्तर पर भी अपनी पहचान नहीं रखने वालों के पार्टी छोड़कर जाने से जदयू की सेहत पर कोई असर नहीं पड़ेगा. जिलाध्यक्ष का यह बयान मीडिया के माध्यम से सामने आने के बाद तो जदयू के पूर्व नेताओं ने प्रेस वार्ता आयोजित कर जदयू के वर्तमान व पूर्व जिलाध्यक्ष पर आरोपों की बारिश कर दी. जनाधार की बात पर जदयू के पूर्व नेता बबलू मंडल ने तो जदयू के वर्तमान व पूर्व जिलाध्यक्ष को खुली चुनौती पेश करते हुए यहां तक कह डाला कि यदि वे जिले के किसी मैदान में खुद के बल पर हमारी क्षमता से अधिक भीड़ जमा कर लें तो वे राजनीतिक व सामाजिक कार्यों से इस्तीफा दे देंगे. साथ ही उन्होंने पिछली दरवाजे से जिलाध्यक्ष के पद पर पहुंचने वाले को शिक्षा नहीं देने की जरूरत बताया. साथ ही पार्टी के वर्तमान व पूर्व जिलाध्यक्ष पर कार्यकर्ताओं का आर्थिक दोहन एवं अपरिहार्य कारणों से जदयू के सांगठनिक चुनाव के स्थगन कराने का आरोप लगाते हुए इसे लोकतंत्र का चीरहरण करार दिया.

प्रेस कान्फ्रेंस के दौरान बबलू कुमार मंडल, नगर परिषद के पूर्व उपसभापति राजकुमार फोगला, अरबिन्द मोहन, जिला पार्षद योगेन्द्र सिंह, मुखिया सुनील कुमार, सुमित कुमार सिंह, पंकज कुमार गुप्ता, पंकज कुमार सिंह, रंजना कुमारी, संजय साह, अतुल चौरसिया, श्रवण कुमार साह, विकाश कुमार सिंह, प्रमोद कुमार साह आदि मौजूद थे.


Check Also

भाजपा नेताओं ने झोंकी ताकत, खगड़िया संसदीय सीट से चाहिए भाजपा उम्मीदवार

भाजपा नेताओं ने झोंकी ताकत, खगड़िया संसदीय सीट से चाहिए भाजपा उम्मीदवार

error: Content is protected !!